तेहरान और तेल अवीव के बीच छिड़ी अब तक की सबसे भीषण जंग, दोनों ओर तबाही

Prashant Prakash
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पश्चिम एशिया एक बार फिर युद्ध की भीषण लपटों में झुलस रहा है। इजराइल और ईरान के बीच चल रहे तनाव ने अब पूर्ण युद्ध का रूप ले लिया है। घटनाक्रम तेजी से बदल रहे हैं, और दुनिया इस संघर्ष को दहशत और आशंका से देख रही है। आइए जानते हैं इस युद्ध से जुड़ी घटनाओं के अब तक के सबसे बड़े अपडेट..

इजराइल का ‘ऑपरेशन राइजिंग लायन’: हवाई हमलों की बारिश

इजराइल ने अपने सैन्य इतिहास का सबसे बड़ा हवाई हमला करते हुए 200 फाइटर जेट्स के माध्यम से ईरान के प्रमुख परमाणु और सैन्य ठिकानों को निशाना बनाया। इस आक्रामक कार्रवाई को "ऑपरेशन राइजिंग लायन" नाम दिया गया है।
इस हमले में :

- ईरान के 6 वरिष्ठ वैज्ञानिक मारे गए, जिनका संबंध देश की परमाणु परियोजनाओं से था।

- 20 से अधिक सैन्य कमांडर भी इस हमले में मारे जाने की पुष्टि की गई है।

- हमले का मुख्य निशाना थे — तेहरान, इस्फहान और क़ुम के आसपास के संवेदनशील सैन्य व वैज्ञानिक प्रतिष्ठान।

ईरान का पलटवार : ‘टू प्रॉमिस थ्री’ के नाम से जवाबी हमला

इजराइल के हमले के कुछ ही घंटों बाद ईरान ने भी करारा जवाब दिया। उसने इस जवाबी कार्रवाई को "टू प्रॉमिस थ्री" नाम दिया।

ईरान ने :

- 150 से अधिक मिसाइलें इजराइल की ओर दागीं।

- दावा किया कि उसने एक बैलिस्टिक मिसाइल के जरिए इजराइली रक्षा मंत्रालय को निशाना बनाकर गंभीर क्षति पहुंचाई है।

- मिसाइल हमलों का मुख्य केंद्र तेल अवीव और हैफा जैसे बड़े शहर रहे।

अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया : ट्रम्प की धमकी, वैश्विक चिंता

इस संघर्ष ने अमेरिका को भी सक्रिय कर दिया है। पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इस पूरे घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए ईरान को सीधे धमकी दी:

> "अगर ईरान ने परमाणु समझौते की मेज पर वापसी नहीं की, तो उसे बड़े हमले के लिए तैयार रहना चाहिए।"

संयुक्त राष्ट्र और यूरोपीय संघ ने तत्काल युद्धविराम की अपील की है, लेकिन ज़मीन पर शांति के कोई संकेत फिलहाल नजर नहीं आ रहे।

विश्लेषण : क्या यह तीसरे विश्व युद्ध की शुरुआत है?

विशेषज्ञ मानते हैं कि यह संघर्ष केवल दो देशों की लड़ाई नहीं है, बल्कि इसके पीछे भू-राजनीतिक ध्रुवीकरण और क्षेत्रीय प्रभुत्व की होड़ है। अगर यह युद्ध लंबा खिंचता है, तो इसमें अमेरिका, रूस, चीन और नाटो जैसे शक्तिशाली पक्षों का प्रत्यक्ष या परोक्ष हस्तक्षेप तय है।

अब तक के प्रमुख नुकसान और घटनाएं

- इजराइल हवाई हमला (200 फाइटर जेट्स) ईरान के 26 प्रमुख लोग मारे गए सैन्य और वैज्ञानिक ठिकानों को भारी नुकसान

- ईरान मिसाइल हमला (150+) इजराइली ठिकानों पर हमला रक्षा मंत्रालय सहित कई सैन्य बेस प्रभावित

- वैश्विक निंदा और चिंता आर्थिक बाजारों में गिरावट तेल कीमतों में उछाल

क्या आगे की राह कूटनीति से निकलेगी?

फिलहाल हालात बेहद विस्फोटक हैं। दोनों देशों के बीच बातचीत की कोई संभावना नजर नहीं आ रही है। यदि संयुक्त राष्ट्र या बड़े वैश्विक संगठन तत्काल हस्तक्षेप नहीं करते, तो यह युद्ध और भी व्यापक रूप ले सकता है।

ईरान और इजराइल के बीच छिड़ा यह युद्ध न केवल पश्चिम एशिया, बल्कि समूचे विश्व को प्रभावित कर सकता है। आने वाले दिन यह तय करेंगे कि यह टकराव किसी समाधान की ओर बढ़ता है या और गहरा होता है।

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